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आज सालनी जो की प्राइमरी स्कूल की मैथ्स की टीचर है अपने छोटे छोटे प्यारे से बच्चो को जो सेकं
- 2021/03/05
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サマリー
あらすじ・解説
आज सालनी जो की प्राइमरी स्कूल की मैथ्स की टीचर है अपने छोटे छोटे प्यारे से बच्चो को जो सेकंड क्लास के बच्चे हैं एडिसन का चैप्टर का rivision करवाना था सलनी बहुत ही अच्छी, अनुभवी और एक परफेक्ट टीचर हैं अपने सब्जेक्ट को पढ़ने में उसको महारथ हासिल है वह जो एक बार पढ़ा देती है वह बच्चे जल्दी से भूल ही नहीं सकते क्लास में अन्दर आते ही सालनी ने बच्चों को अपनी अपनी बुक्स और नोटबुक्स निकलने के लिए कहा सभी बच्चे लगभग सात या आठ साल के होंगे सभी ने टीचर की बात को मानते हुए अपनी अपनी बुक और नोट बुक्स डेस्क पर निकल ली अब टीचर ने पढ़ना शुरू किया सात वर्षीय परुली को टीचर ने पूछा, "परुली अगर मैं तुमको एक सेब और एक सेब और एक सेब दूं, तो तुम्हारे पास कितने सेब हो जायेगे ?" कुछ सेकंड अपनी नन्ही नन्ही उँगलियों पर गन्ना करने के बाद परुली ने बहुत ही आत्मविश्वास के साथ उत्तर दिया, मैडम "चार!" सालनी एक सहज सही उत्तर की उम्मीद कर रही थी जो की तीन होता पर वह परुली के उत्तर से निराश हो गई। "शायद परुली ने ठीक से नहीं सुना।" - उसने सोचा। सालनी ने फिर से दोहराया, “परुली, ध्यान से सुनो। अगर मैं तुमको एक सेब और एक सेब और एक सेब दूं, तो आपके पास कितने सेब होजाएंगे ? ” परुली ने अपने मैडम के चेहरे पर निराशा देखी थी। उसने अपनी उंगलियों पर फिर से गिनती की। लेकिन मन ही मन वह भी वही उत्तर खोज रही थी जो उसकी सबसे पसंदीदा मैडम को खुश करदे । थोडा लम्बे इन्तेजार के बाद परन्तु इस बार झिझकते हुए उसने फिर से जवाब दिया, "मैडम चार सेब ।" सालनी जो की बहुत ही अच्छी टीचर है के चेहरे पर फिर से निराशा छा गई। तभी सलनी को याद आया कि परुली को स्ट्रॉबेरी बेहद पसंद है। इस बार फिर से टीचर ने उत्साह दिखाते हुए और अपनी आँखों को टिमटिमाते हुए परुली को थोडा सहज महसूस करते हुए फिर से उसने पूछा, "अगर मैं तुमको एक स्ट्रॉबेरी और एक स्ट्रॉबेरी और एक स्ट्रॉबेरी और दे दूं, तो तुमको पास कितनी स्ट्राबेरी होंगी?" टीचर को खुश देखकर, छोटी से परुली ने अपनी उंगलियों पर फिर से पूरे उत्साह और ध्यान से गिनती की। इस बार परुली कोई दबाव नहीं महसूस कर रही थी क्युकी उसकी प्यारी सी मैडम का मूड बहुत अच्छा है , लेकिन सालनी थोड सी चिंतित और दबाव महसूस कर रही थी वह सोच रही थी कि क्या उसका पढ़ने में कहीं कोई कमी रह गई है और क्या ...